प्रस्तुत पोस्ट Emily Bronte in Hindi में हम मशहूर लेखिका एमिली ब्रांटे के बायोग्राफी को जानेंगे ।

Emily Bronte in Hindi
1847 में प्रकाशित एमिली ब्रॉण्टे का एकमात्र उपन्यास वुदरिंग हाइट्स (Wuthering Heights) तथा चंद कविताएं लिखने के बाद एमिली ब्रांटे की गणना विश्व के मशहूर कथाकारों में हो गयी। 29 वर्ष के अपने छोटे-से जीवन काल में उन्होंने साहित्य जगत को जो बहुमूल्य रत्न प्रदान किया, उसकी मिसाल अन्यत्र दुर्लभ है। एमिली का जीवन नारी जीवन की विवशता की मार्मिक कहानी है।
परिवार में मां, एक भाई और दो बहनों की अकाल मौत ने उन्हें जीवन की स्वाभाविक वृत्तियों से महरूम कर दिया। मौत के साये में ही उनका जीवन बीता और कुछ वैसी ही दुनिया Wuthering Heights में भी दिखायी देती है। एमिली के जीवन में एक अदद प्रेमी की तलाश बनी रही जो कभी पूरी न हो सकी और वही Wuthering Heights में विभिन्न प्रेम कथाओं में रूपायित हुई है।
थोर्नटन यॉर्कशायर के एक मध्यवर्गीय परिवार में 30 जुलाई 1818 को एमिली का जन्म हुआ। पिता पैट्रिक ब्रांटे पुरोहितगिरी का काम करते थे जबकि मां मारिया ब्रान वेल घरेलू महिला थीं। अपने छः भाई बहनों में एमिली पांचवें स्थान पर थी। ब्रांटे परिवार में माता-पिता के अतिरिक्त पांच बहनें मारिया, एलिज़ाबेथ, शरलाट , एमिली व एन्नै तथा भाई ब्रैमवेल थे।
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1820 में एन्नै के जन्म के बाद ब्रांटे परिवारएक छोटे शहर हावर्थ में आकर बस गया। 1821 में जब वे महज़ तीन साल की थीं, कैंसर के कारण मां की मृत्यु हो गयी। घर की सारी जि़म्मेदारी पिता के कंधों पर आ गयी। पिता पैट्रिक ब्रांटे की साहित्य में गहरी रुचि थी। उनकी आलमारी बाइबिल सहित होमर, वर्जिल, शेक्सपीयर, मिल्टन, बायरन, स्काट सरीखे लेखकों की रचनाओं से भरी रहती थी। वे स्थानीय अख़बारों में लिखते थे तथा उनकी कुछ किताबें भी प्रकाशित हो चुकी थीं। वे एकांत प्रिय व्यक्ति थे और अकेले में भोजन किया करते थे। इसी माहौल में एमिली का रचनात्मक व्यक्तित्व विकसित हुआ।
मां की मौत के आंसू अभी सूखे भी न थे कि 1825 में दो महीने के भीतर नियति की निष्ठुरता ने मारिया एवं एलिज़ाबेथ को परिवार से छीन लिया। एमिली उस वक्त महज़ सात वर्ष की थीं। बार-बार परिवार में हो रही मौत की घटनाओं ने बच्चों के अंदर असुरक्षा का माहौल भर दिया। अकेलेपन और रंगहीन बेजान-सी दुनिया से निजात पाने के लिए बच्चों ने अपने अलग-अलग स्वप्नलोक गढ़ लिये।
एमिली और एन्नै ने जहां ‘गोंडल’ की काल्पनिक दुनिया निर्मित की, वहीं भाई ब्रैनवेल एवं बहनशरलाट ने ‘अंगरिया साम्राज्य’ की स्थापना की। कविताओं एवं कहानियों में इन स्वप्नलोकों के पात्र विचरने लगे।
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एमिली की आरंभिक शिक्षा 1824 में क्लर्जी डाटर्स स्कूल की अनब्रिज से शुरू हुई लेकिन घटिया भोजन एवं प्रतिकूल मौसम के कारण एक वर्ष से अधिक वे वहां नहीं रह पायीं तथा स्कूल छोड़कर पिता के पास लौट आयीं।
1825 में 7 वर्ष की अवस्था में एक बार फिर औपचारिक स्कूली शिक्षा हेतु उन्होंने मिस वूलर स्कूल, रो हेड मरफिल्ड में दाखि़ला लिया। यहां भी वे बीमार पड़ गयीं और तीन महीने के भीतर बहन शरलाट के साथ वापस हावर्थ लौट आयीं।
फरवरी 1842 में अपना खुद का स्कूल शुरू करने की इच्छा से बहन शरलाट के साथ वे ब्रसेल्स आ गयीं जहां उन्होंने फ्रेंच, जर्मन, संगीत के साथ-साथ स्कूल प्रबंधन की शिक्षा प्राप्त की। छात्र उपलब्ध न होने के कारण स्कूल चलाने का उनका सपना भी अधूरा ही रह गया। नंवबर में दोनों बहनें पुनः हावर्थ लौट आयीं।
बड़ी बहन शरलाट की भांति एमिली की कोई नज़दीकी सहेली न थी। ज़्यादा वक्त वह गुमसुम रहा करतीं तथा उनका रुझान रहस्वाद की ओर होने लगा था। इस बीच गोंडल की काल्पनिक दुनिया में खुशियां तलाशने के क्रम में एमिली की भावनाएं काव्य पंक्तियों में कलमबंद होने लगीं।
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1845 में अचानक एक दिन शरलाट को एमिली की कुछ कविताएं हाथ लग गयीं। निजी जि़ंदगी में यह हस्तक्षेप एमिली को नागवार गुज़रा और उन्होंने बहन के प्रति नाराज़गी व्यक्त की। काफ़ी समझाने पर बहनों के साथ अपनी कविताएं प्रकाशित करवाने के लिए वे जल्दी ही मान गयीं। लेकिन ब्रिटेन के तत्कालीन पुरुष प्रधान समाज में स्त्रिायों के लिए रचनाएं छपवाना इतना आसान न था।
तीनों बहनों शरलाट, एमिली और एन्ने को एक उपाय सूझा। उन्होंने अपने नाम के शुरुआती अक्षर से बने छद्म नाम क्रमशः क्यूरर बेल, एलिस बेल तथा एक्शन बेल के नाम से दिसंबर 1846 में एक संयुक्त संकलन प्रकाशित करवाया।
पुरुषवाचक नाम से स्त्रियों द्वारा लिखी गयी ये कविताएं तत्कालीन सामाजिक विसंगतियों पर करारा प्रहार करती हैं। यूं अंग्रेज़ी सहित्य में एमिली की कविताओं ख़ासकर ‘टू इमेजिनेशन’, ‘द प्रिज़नर’, ‘द विजि़नरी’, ‘द ओल्ड स्टोइक’, ‘नो कवार्ड सोल’ तथा ‘रिमेम्बरेन्स’ का अपना विशिष्ट महत्व है। किंतु एमिली की प्रसिद्धि का राज तो उनका एकमात्र उपन्यास Wuthering Heights ही है।
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1847 में एन्ने के उपन्यास ‘एगनेस ग्रे’ के साथ ही दो खंडों में संयुक्त रूप से एमिली की महान कृति वुदरिंग हाइट्स का प्रकाशन हुआ। हालांकि इस पर आलोचकों तथा पाठकों की मिश्रित प्रतिक्रिया रही।
इस बीच चित्रकार और लेखक के रूप में असफल होने के कारण भाई ब्रेनवेल शराब और अफ़ीम की लत का शिकार हो गया। उसे एक रेलवे कंपनी की सहायक क्लर्क की नौकरी भी गंवानी पड़ी।
मज़बूरन 1845 में वह हावर्थ लौट आया जहां उसका स्वास्थ्य लगातार गिरता गया और सिंतबर 1848 में वह भी दुनिया से चल बसा। भाई के अंतिम संस्कार से लौटते समय एमिली को ठंड लग गयी और घर पहुंच कर वह बीमार पड़ गयीं। उन्होंने दवा लेने से भी मना कर दिया और अंततः 19 दिसंबर 1848 को दुख भरी जि़ंदगी से वे सदा के लिए मुक्त हो गयीं।
उनके मरने के पश्चात् दिसंबर 1850 में शरलाट ने Wuthering Heights की नयी भूमिका लिखी और अपने संपादन में यह उपन्यास स्वतंत्र रूप से प्रकाशित करवाया। कहने की ज़रूरत नहीं कि आज यह उपन्यास ‘क्लासिक’ का दर्जा पा चुका है।
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जीवन भर अभावों एवं कष्टों से जूझते हुए उन्होंने प्रेम की वैकल्पिक दुनिया Wuthering Heights के माध्यम से रची जिसमें मानव मनोविज्ञान एवं आपसी संबंध की जटिलताओं को अनूठी रचना के माध्यम से प्रस्तुत किया गया है।
एमिली की शोहरत का अंदाज़ा इसी बात से लगाया जा सकता है कि उनकी रचना पर अब तक दर्जन से अधिक फि़ल्में एवं संगीत एलबम बनाये जा चुके हैं। किसी भी भाषा की दस सर्वश्रेष्ठ प्रेम कथाओं को चुनना पड़े तो निस्संदेह Wuthering Heights का नाम सूची में अवश्य रहेगा।
हितक्लिफ़ और कैथरीन की प्रेम कहानी को आधार बना कर एमिली ने 19 वीं शताब्दी के ब्रिटिश समाज में हो रहे बदलावों के बीच पुरुषसत्तात्मक सामाजिक व्यवस्था की रूढि़यों एवं विसंगतियों पर भी करारा प्रहार किया है। इसका कथा-विन्यास, चरित्र-संयोजन, स्थापत्य और भाषिक वैविध्य यॉर्कशायर ‘लोकेल’ का ऐसा सटीक और सघन बिम्ब प्रस्तुत करता है कि हीथक्लिफ़ कैथी के जटिल स्नेह-बंध के ठोस भौतिक और गहरे अर्थ में आधिभौतिक आयाम पाठक के मन में आजीवन गूँजते रहते हैं।
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प्रमा (इंसटिंक्ट) को नैतिक और सामाजिक आयोजनों केऊपर प्रतिष्ठित करने के शुद्ध रूमानी दर्शन और ऊहापोह- भरे क्लिष्ट कथानक के बावजूद यह उपन्यास मेलोड्रैमेटिक नहीं बनता : क्लासिक भाषिक विनियोग और भिन्न कथावाचकों के आयोजन तथा मुख्य एवं गौण पात्रों द्वारा तरह- तरह केदृष्टिकोणों के सूक्ष्म संयोजन की विशिष्ट तकनीक के कारण। यह अंग्रेजी की एक ऐसी कालजयी औपन्यासिक कृति है, जिसे Somerset Maugham ने विश्व के दस कालजयी उपन्यासों में एक माना था।
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