पिछले सप्ताह नई दिल्ली के तालकटोरा स्टेडियम में देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बच्चों के मन से परीक्षा का भय दूर करने के लिए देश भर के बच्चों को न केवल सम्बोधित किया बल्कि काफी हद तक वे बच्चों के मन से परीक्षा का भय निकालने में सफल भी रहें। उनके इस संवाद को वहां उपस्थित बच्चों के साथ ही साथ वीडियो कॉन्फ़्रेंसिंग के माध्यम से देश के कोने –कोने में लाखों छात्र-छात्राओं ने सुना. इस कार्यक्रम को लगभग १० करोड़ छात्रों, शिक्षकों और अभिभावकों ने देखा और सुना.
प्रधानमंत्री द्वारा दिये गये ये गुरू मंत्र न केवल बच्चों को विभिन्न शैक्षिक प्रतियोगिताओं में सफल बनाने में प्रेरणा (motivation) का काम करेंगे बल्कि उन्हें अपने सारे जीवन में आने वाली किसी भी परीक्षा को भी सफल बनाने में अत्यन्त ही सहायक होंगे।
बच्चों के मन से परीक्षा का डर दूर करने के साथ ही उनके सम्पूर्ण जीवन की परीक्षाओं को सफल बनाने में भी अत्यन्त ही सहायक है माननीय प्रधानमंत्री जी के द्वारा दिया गया मंत्र! PM Narendra Modi Exam Tips for Board Students
1. देश भर के बच्चों के मन से परीक्षा का डर दूर करने के लिए ऐतिहासिक पहलः
भारतीय इतिहास में पहली बार प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बच्चों के मन से परीक्षा का भय (Exam fear) दूर करने के लिए देश भर के बच्चों को न केवल सम्बोधित किया बल्कि काफी हद तक वे बच्चों के मन से एग्जाम फियर निकालने में सफल भी रहें। नई दिल्ली के तालकटोरा स्टेडियम में परीक्षा के कार्यक्रम के दौरान उपस्थित बच्चों एव विडियो कॉन्फ़्रेंसिंग के द्वारा प्रधानमंत्री द्वारा दिये गये गुरु मंत्र न केवल बच्चों को विभिन्न शैक्षिक प्रतियोगिताओं में सफल बनाने में प्रेरणा का काम करेंगे बल्कि उन्हें अपने सारे जीवन में आने वाली किसी भी परीक्षा को भी सफल बनाने में अत्यन्त ही सहायक होंगे ।
2. अंक और परीक्षा जीवन का आधार नहीं हैं:
इस अवसर पर माननीय प्रधानमंत्री जी ने कहा कि वर्तमान में जीने की आदत एकाग्रता के लिए एक रास्ता खोल देती है। उन्होंने बच्चों से कहा कि आप खुद के साथ स्पर्धा कीजिए कि मैं जहाँ कल था उससे दो कदम आगे बढ़ा क्या, अगर आपको ऐसा लगता है कि आप आगे बढ़ें हैं तो यही आपकी जीत है। इसलिए कभी भी किसी दूसरे के साथ कम्पटीसन नहीं बल्कि खुद के साथ कम्पटीसन कीजिए क्योंकि अंक और परीक्षा जीवन का आधार नहीं हैं। देश भर के बच्चों को सम्बोधित करते हुए माननीय प्रधानमंत्री जी द्वारा बच्चों को दिये गये मंत्र को सारांश रूप में नीचे दिया जा रहा है: PM Narendra Modi Exam Tips for Board Students
3. आत्मविश्वास के बिना किसी भी परीक्षा में सफलता हासिल नहीं की जा सकतीः
बच्चों की मेहनत में कोई कमी नहीं होती है। छात्र के साथ उसके माता-पिता और शिक्षक भी तैयारी करते हैं, लेकिन अगर छात्र में आत्मविश्वास यानी self confidence नहीं है तो परीक्षा देना मुश्किल हो जाता है। पेपर जब हाथ में आता है तो छात्र सब पढ़ा-पढ़ाया भूल जाता है। इस तरह आत्मविश्वास के बिना किसी भी परीक्षा में सफलता हासिल नहीं कि जा सकती, इसलिए आत्मविश्वास (self confidence) का होना बेहद जरूरी है । अगर आत्मविश्वास नहीं तो 33 करोड़ देवी -देवता भी कुछ नहीं कर सकते।
4. आत्मविश्वास कैसे हासिल किया जाएः
आत्मविश्वास कोई जड़ी-बूटी नहीं है जो खाने से आ आ जाएगी। ना ही माँ द्वारा दी गई कोई दवाई है जो परीक्षा के समय मिल जाए तो काम आ जाएगी। यह तो तभी संभव है जब छात्र खुद को परीक्षा की कसौटी पर कसे। तभी जीत हासिल हो सकती है। आप खुद के साथ प्रतिस्पर्धा कीजिए कि मैं कल जहां था उससे दो कदम आगे बढ़ा क्या? अगर आपको ऐसा लगता है तो यही आपकी विजय है । कभी भी दूसरे के साथ प्रतिस्पर्धा मत कीजिए, खुद के साथ अनु-स्पर्धा या आत्म्स्पर्धा कीजिए।
5. किताबों से सिर्फ बुद्धि ही नहीं मन को भी जोड़े:
एकाग्रता के सवाल पर पीएम ने कहा एकाग्रता के लिए किसी एक्टिविटी की जरूरत नहीं है। आप खुद को जाँचिये परखिए। बहुत से लोग कहते हैं कि मुझे याद नहीं रहता है लेकिन यदि आपको कोई बुरा कहता है तो 10 साल बाद भी आपको वह बातें याद रहती है। इसका मतलब है कि आपकी स्मरण शक्ति में कोई कमी नहीं है।
जिन चीजों में सिर्फ बुद्धि नहीं आपका मन भी जुड़ जाता है, वह जिंदगी का हिस्सा बन जाती है। वर्तमान में जीने की आदत एकाग्रता (Concentration) लिए एक रास्ता खोल देती है।
6. यह सोच कर परीक्षा में बैठें कि आप ही अपना भविष्य तय करेंगे:
छात्रों को ध्यान देना चाहिए कि कौन-सी बातें उनका ध्यान भटका रही हैं। इसके लिए खुद को जांचना और परखना जरूरी है, ताकि उन्हें अपनी कमियों का एहसास हो सके और वे पढाई में ध्यान केंद्रित कर सकें।
‘स्कूल जाते समय यह बात दिमाग से निकाल दीजिए कि कोई आपका एग्जाम ले रहा है। कोई आपको अंक दे रहा है। इस बात को दिमाग में रखिए कि आप खुद का एग्जाम ले रहे हैं। इस भाव के साथ बैठिए की आप ही अपना भविष्य तय करेंगे ।
7. आप खुद ऐसा बनें कि दूसरे आपसे प्रतिस्पर्धा करें:
युद्ध और खेल के विज्ञान दोनों में एक नियम है कि आप अपने मैदान में खेलिए। जब आप अपने मैदान में खेलते हैं तो आपकी जीत के अवसर बढ़ जाते हैं। दोस्तों के साथ कम्प्टीशन में आपको उतरना ही क्यों है।
आपके दोस्त की परवरिश, खेल और रुचि सभी अलग हैं। इसलिए किसी से किसी की तुलना नहीं है । पहले खुद को अपने दायरे में रहकर सोचें। छात्रों और उनके माता-पिता को वर्तमान में जीने की आदत डालनी चाहिए। इससे ही भविष्य में एकाग्रता और सक्सेस (success) के रास्ते खुलेंगे। आप खुद ऐसा बनें कि दूसरे आपसे प्रतिस्पर्धा करें।
8. अभिभावक दूसरे बच्चों से अपने बच्चों की तुलना न करें:
भारत का बच्चा जन्मजात राजनेता होता है, क्योंकि ज्वाइंट फैमिली में उसे पता होता है कि उसे कौन सा काम किससे करवाना है। अभिभावकोण से कहना चाहूंगा कि वे दूसरे बच्चों से अपने बच्चों की तुलना न करें ।
आपके बच्चे के अंदर जो सामर्थ्य है, उसी के अनुसार उससे उम्मीद करें। अंक और परीक्षा जीवन का आधार नहीं हैं इसलिए हर वक्त बच्चे के भविष्य और करियर की चिंता करना ठीक नहीं है। एक खुला और तंदरुस्त वातावरण बच्चों को दिया जाना चाहिए। केवल एग्जाम के वक्त ही नहीं बल्कि हमेशा। और आप विश्वास करिये आपका बच्चा अपने आपको केवल स्कूली परीक्षा को ही सर्वोच्च अंकों के साथ ही पास नहीं करेगा बल्कि अपने आपको सम्पूर्ण जीवन की परीक्षा के लिए भी तैयार कर लेगा।
यह आलेख हमें डॉ. जगदीश गाँधी, शिक्षाविद एवं संस्थापक-प्रबन्धक, सिटी मोन्टेसरी स्कूल, लखनऊ ने भेजा है. बेहतरलाइफ टीम उनकेप्रति आभार प्रकट करता है और उम्मीद करता है कि आगे भी आप इस तरह के मोटिवेशनल आलेख हमें प्रकाशनार्थ भेजते रहेंगे.
PM Narendra Modi Exam Tips for Board Students के अलावे इसे भी पढ़ें:
- Haar Mein Jeet ke Ankur Motivational Article हार में जीत के अंकुर
- Willpower Enhancement Tips in Hindi अपनी इच्छा शक्ति को कैसे जगाएं?
- Exams are Checkpoints
- Tips to prepare for JEE-Mains
- बोर्ड परीक्षा दे रहे छात्रों के लिए कुछ टिप्स
Join the Discussion!